13 साल की उम्र में आत्महत्या करना चाहते थे कॉमेडी किंग जॉनी लीवर, जानें कैसे हुए रिकवर

 घर की खराब माली हालत और पिता की शराब की लत से परेशान जॉनी लीवर ने एक बार तो सुसाइड करने का भी मन बनाया था






फिल्मों में जब बात आती है कॉमेडी किंग तो जॉनी लीवर का नाम सबसे पहले जुंबा पर आता है। गोविंदा, सलमान खान, अमिताभ बच्चन और शाहरुख और जैसे कई स्टार के साथ फिल्मों में काम करने के बावजूद जॉनी लीवर ने फिल्म इंडस्ट्री में एक अलग पहचान बनाई है। दुनिया को हंसाने वाले जॉनी लीवर की जर्नी इतनी आसान नहीं थी। एक दौर ऐसा भी था, जब जॉनी लीवर खुद को खत्म करना चाहते थे। महज 13 साल की उम्र में जॉनी लीवर आत्महत्या को गले लगाकर दुनिया को अलविदा कहना चाहते थे।



लोगों को आत्महत्या से कैसे दूर किया जाए, इसके लिए हर साल 10 सितंबर को विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस (World Suicide Prevention Day) मनाया जाता है। विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस पर हम आपको बताने जा रहे हैं कॉमेडी किंग जॉनी लीवर की आत्महत्या की कहानी और वो इससे कैसे बाहर आए।


गरीब परिवार से आते है जॉनी लीवर

जॉनी लीवर बहुत ही गरीब परिवार से आते हैं। बॉलीवुड में एंट्री से पहले जॉनी का पूरा परिवार मुंबई की चॉल में रहता था। उनके पिता प्रकाश राव एक प्राइवेट कंपनी में काम किया करता थे। जॉनी के पिता को शराब पीने की आदत थी। जिसके कारण उनके कमाए हुए ज्यादातर पैसे शराब में ही खर्च हो जाते थे। परिवार की आर्थिक मदद के लिए उन्होंने छोटी उम्र में ही काम करना शुरू कर दिया था। एक दिन अपनी आर्थिक परेशानियों से जूझते हुए जॉनी लीवर ने आत्महत्या की कोशिश की। वह मरने के लिए एक रेलवे प्लेटफॉर्म पर जाकर लेट गए और ट्रेन के आने का इंतजार करने लगे। हालांकि किस्मत को कुछ और ही मंजूर था।



कैसे हुए रिकवरी

जॉनी लीवर का कहना है कि जब वो मौत को गले लगाने के लिए रेलवे ट्रैक पर लेटे हुए थे, तब उन्होंने आंखों को बंद कर लिया था। वो नहीं चाहते थे कि मौत को अपनी आंखों से देख सकें। रेलवे ट्रैक पर लेटे हुए जॉनी लीवर आंखों को बंद करके जब ट्रेन के आने का इंतजार कर रहे थे, तब उनके सामने परिवार वालों की शक्ल सामने आनी लगी और वह तुरंत पटरी से उठे और मरने का प्लान कैंसिल कर दिया।

छोटी सी उम्र में इतना बड़ा फैसला लेने वाले जॉनी लीवर का कहना है कि किसी भी चीज के लिए निराश और हताश होना एक आम बात है, लेकिन कभी भी आत्महत्या को गले नहीं लगाना चाहिए। कॉमेडी किंग का कहना है कि आत्महत्या को गले लगाने से पहले परिवार और दोस्तों के बारे में सोचना जरूरी है। एक्टर का कहना है कि आत्महत्या कोई विकल्प नहीं है ये एक अपराध है, जो इंसान खुद के साथ करता है।

क्यों आता है सुसाइड करने का ख्याल

मायो क्लीनिक की एक रिपोर्ट के मुताबिक किसी भी व्यक्ति में सुसाइड का ख्याल कई कारणों से आ सकता है। कई बार लोगों को लगता है कि आत्महत्या करना एक मानसिक बीमारी है, लेकिन ये डिप्रेशन, बाईपोलर डिसऑर्डर, किसी चीज को लेकर दिमाग पर असर पड़ने की वजह से हो सकता है। मानसिक रोग विशेषज्ञों का मानना है कि आत्महत्या काविचार किसी इंसान के अंदर तब पनपता है जब वो किसी मुश्किल से बाहर नहीं निकल पाता। इस स्थिति में इंसान को पहले अपने परिवार, दोस्त और किसी जानकार से बात करनी चाहिए।

 




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